दीपावली रोशनी का पर्व है — अंधकार मिटाने और नए सवेरे का स्वागत करने का प्रतीक। पर गांधीजी के लिए यह केवल दीयों और मिठाइयों का त्यौहार नहीं था। उनके लिए दीपावली आत्मदर्शन का अवसर थी — यह सोचने का कि हमारे भीतर का अंधेरा कितना मिटा है, और समाज के अंधेरे को मिटाने के […]